अल्मोड़ा में हुए दु:खद सड़क हादसे के बाद कुछ असामाजिक तत्वों द्वारा यह भ्रम फैलाने का प्रयास किया गया कि सरकार ने हेली सेवा का लाभ नहीं उठाया और गंभीर रूप से घायलों को समय पर इलाज नहीं मिल सका। जबकि यह सरासर ग़लत है।

*हादसे के तुरंत बाद राहत और बचाव कार्यों में पूरी तत्परता से जुटे बचाव दलों ने घायल मरीजों को माननीय मुख्यमंत्री श्री @pushkardhami जी के निर्देशों पर प्राथमिक चिकित्सा देने के बाद सबसे पहले उन्हें एंबुलेंस के माध्यम से नजदीकी चिकित्सा संस्थानों तक भेजा। यदि किसी मरीज की हालत गंभीर थी तो उन्हें एयर लिफ़्ट कर उच्चतम चिकित्सा केंद्रों में पहुंचाने की प्रक्रिया भी शुरू की गई।*

*प्रशासन ने सभी उपलब्ध संसाधनों का समुचित उपयोग किया है ताकि घायल व्यक्तियों को शीघ्रतम और सर्वोत्तम इलाज मिल सके। सरकार ने हादसे के दौरान घटनास्थल से लेकर अस्पतालों तक, हर स्तर पर एक समन्वित प्रयास किया। स्थानीय युवाओं, राहत दल, पुलिस और चिकित्सा दल ने मिलकर एक मजबूत राहत अभियान चलाया और हर मरीज का सही समय पर इलाज सुनिश्चित किया।*

*राज्य के सभी नागरिकों से निवेदन करते हैं कि वे किसी भी अफवाह या भ्रामक जानकारी से दूर रहें। हमारा कर्तव्य है कि हम मिलकर समाज में सकारात्मकता और सत्य को बढ़ावा दें।*

अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान, ऋषिकेश (AIIMS Rishikesh) ऋषिकेश में स्थापित चिकित्सा महाविद्यालय एवं अस्पताल है। यह स्ववित्तपोषित है और भारत सरकार के स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मन्त्रालय के अधीन कार्य करता है।

2. ऐयरोमेडिकल सर्विसेज/ट्रामा टीम, एम्स, ऋषिकेश द्वारा मार्चुला बस दुर्घटना की सूचना प्राप्त होते ही बिना किसी विलम्ब के राज्य की हेली सेवा के माध्यम से एवं वरिष्ठ विशेषज्ञ चिकित्सकों की देखरेख में 03 गम्भीर रूप से घायल मरीजों को तत्काल एम्स ऋषिकेश में लाकर चिकित्सकीय सुविधा प्रदान की गई।

3. इस दुर्घटना में घायल, जो रामनगर चिकित्सालय में लाये गये थे, एम्स ऋषिकेश की ऐयरोमेडिकल सर्विसेज टीम द्वारा तत्काल स्वास्थ्य जांच एवं आवश्यक जीवनरक्षक चिकित्सकीय सुविधा प्रदान की गई।

4. घायलों में 02 व्यस्क, जिन्हें Hemorrhagic Shock एवं 2.5 साल की बच्ची, जिसके RIB Fractures & Lung Injury थी, को एम्स ऋषिकेश की हैली सेवाओं के माध्यम से तत्काल ऋषिकेश लाया गया और जीवन सुरक्षा से संबंधित सभी आवश्यक उपचार तत्काल प्रारम्भ किये गये।

5. एक अन्य Patient ग्राउन्ड एम्बुलेंस से एम्स ऋषिकेश लाया गया। इस प्रकार दिनांक 04.11.2024 को 07 Patients को आवश्यक जीवनरक्षक अत्याधुनिक चिकित्सीय उपचार प्रदान करते हुये गम्भीर ट्रामा से बाहर निकाला गया।

6. दिनांक 05.11.2024 को एम्स के संजीवनी हेलीकॉप्टर (हेली सेवा) और ऐयरोमेडिकल सर्विसेज के माध्यम से सिर पर गम्भीर चोट से घायल व्यक्ति को रामनगर चिकित्सालय से सुरक्षित एम्स लाकर उपचार प्रारम्भ किया गया।

7. एम्स ऋषिकेश की टीम निरन्तर रामनगर चिकित्सालय एवं स्थानीय प्रशासन के सहयोग एवं घायलों के तत्काल हवाई निकासी हेतु अलर्ट मोड पर उपलब्ध है।