मसूरी के जॉर्ज एवरेस्ट को एक पर्यटन स्थल के रूप में देखा जाता है बड़ी संख्या में पर्यटक इस ऐतिहासिक स्थल को देखने आते हैं लेकिन इन सबके बीच  सोशल मीडिया में जॉर्ज एवरेस्ट क़ो लेकर कई सवालखडे किए जा रहे हैं और ये सवाल स्थानीय लोगों के साथ साथ पर्यटक भी उठा रहें हैं आरोप ये लगाए जा रहें हैं कि पर्यटन विभाग ने जॉर्ज एवरेस्ट पर्यटन क्षेत्र  मैं पर्यटन गतिविधियों को चलाने के लिए आई कम्पनी क़ो जिम्मेदारी दी गई हैं जिसके द्वारा वहा आने वालों से ज्यादा पैसा चार्ज किया जा रहा हैं

जॉर्ज एवरेस्ट में एंट्री के लिए 200 रूपए लिए जा रहें हैं प्रति व्यक्ति लेकिन हैरानी वाली बात ये हैं कि अगर आप गाड़ी से जा रहें हैं तो पार्किंग 1000 रूपए देने पड़ेंगे सवाल ये उठता हैं एंट्री फीस तो फिर भी देने योग्य लग ररहा हैं लेकिन 1 हजार रुपये पार्किंग कौन लेता हैं जबकि पार्किंग के लिए कम्पनी ने कोई बहुत बड़ा इन्वेस्टमेंट नहीं किया हैं गाड़िया ख़डी जमीन पर ही करनी हैं वो भी जॉर्ज एवरेस्ट से बहुत पहले रोक दें रहें हैं और वहा तक जाने के लिए कोई अपनी गाड़ी भी नहीं दी जा रही लोगों क़ो पैदल ही जाना पड रहा हैं वही ड्रोन शॉट्स लेने हैं तो 5 हजार रूपए और प्री वैडिंग शूट के लिए 25 हजार लिए जा रहें हैं

बड़ा सवाल ये हैं की ये जों पैसे लिए जा रहें हैं इसके लिए जिस कम्पनी क़ो पर्यटन विभाग ने ठेका दिया हैं उसने आखिर जॉर्ज एवरेस्ट में किया ही क्या हैं जॉर्ज एवरेस्ट की पहाड़ी पहले से ही खूबसूरत नज़ारे देती थी वही कम्पनी वालों से रोज स्थानीय लोगों कि बहस हो रही हैं