विधायक आशीष, चैतन्य के पिता थाने में हुए हाजिर; एसआईटी ने सभी से अलग-अलग पूछताछ कीशुक्रवार को भी आशीष शर्मा थाने पहुंचे थे, हालांकि राकेश शर्मा नहीं आए थे। एसआईटी ने सभी को अलग-अलग बिठाकर करीब ढाई घंटे तक पूछताछ की।

राज्यसभा चुनाव में विधायकों के वोटों की खरीद-फरोख्त के आरोप में निर्दलीय विधायक आशीष शर्मा और पूर्व विधायक चैतन्य शर्मा के पिता एवं उत्तराखंड के पूर्व मुख्य सचिव राकेश शर्मा शनिवार को बालूगंज थाना में हाजिर हुए। एसआईटी ने आरोपियों को अलग-अलग बिठाकर करीब ढाई घंटे तक पूछताछ की।विधायक आशीष और पूर्व आईएएस अधिकारी राकेश शर्मा शनिवार शाम 5:20 बजे तक थाने में रहे। पुलिस के मुताबिक उन्हें दोबारा जांच में शामिल किया जाएगा।

शुक्रवार को भी आशीष शर्मा थाने पहुंचे थे, हालांकि राकेश शर्मा नहीं आए थे। शनिवार को वह पहली मर्तबा थाने में पेश हुए। बता दें कि कांग्रेस के विधायक संजय अवस्थी और भुवनेश्वर गौड़ ने चैतन्य शर्मा के पिता राकेश तथा हमीरपुर से निर्दलीय विधायक आशीष पर राज्यसभा चुनाव में गैरकानूनी तरीके से बड़े स्तर पर पैसों के लेनदेन और सरकार को गिराने के लिए सुनियोजित तरीके से षड्यंत्र रचने के कई संगीन आरोप लगाए हैं। इसमें सरकार को सत्ताविहीन करने के लिए हेलीकॉप्टर, अर्ध सैनिक बलों और गाड़ियों के इस्तेमाल करने के आरोप शामिल हैं। फिलहाल, शिमला पुलिस अधीक्षक की निगरानी में तीन सदस्यीय अधिकारियों की गठित टीम ने दोनों आरोपियों से मामले से जुड़े कई अहम पहलुओं पर गहनता से पूछताछ की है।

हाईकोर्ट ने 1 अप्रैल तक बढ़ाई है जमानत
बालूगंज थाना में मामले दर्ज होने के बाद 12 मार्च को प्रदेश उच्च न्यायालय ने आरोपियों को सशर्त जमानत दी थी। इन्हें बालूगंज थाने में उपस्थित होना था। बावजूद 15 मार्च तक दोनों आरोपी बालूगंज थाने में पेश नहीं हुए थे। हालांकि दोनों की पैरवी करने उनके वकील पहुंचे थे। अगले दिन उनके वकील ने अदालत को बताया था कि चैतन्य शर्मा के पिता राकेश शर्मा और आशीष शर्मा की तबीयत ठीक नहीं होने का हवाला देकर एक सप्ताह का समय मांगा था है। दोनों पक्षों की दलीलों को सुनने के बाद कोर्ट ने आरोपियों की अंतरिम जमानत 1 अप्रैल तक बढ़ाई है। साथ ही आरोपियों को पुलिस की कार्रवाई में सहयोग करने के निर्देश दिए थे।