सिक्कों के प्रसिद्ध धाम हेमकुंड साहिब के मुख्य पड़ाव गोविंदघाट और बदरीनाथ राष्ट्रीय राजमार्ग 58 पर बादल फटने से भारी तबाही हुई है आज सुबह लगभग 5:00 बजे के आसपास बिजली की गड़गड़ाहट के बाद मूसलाधार बारिश हुई जिसके बाद पहाड़ की ऊंची चोटी पर बादल फट गया बादल इतना जबरदस्त फटा कि उसके आगोश में जितने पेड़ पौधे आए सब अपने साथ बहाकर गोविंदघाट मुख्य बाजार की तरह बहा ले गया। बादल फटने के बाद पार्किंग में खड़ी तीर्थ यात्रियों की गाड़ी मलबे के अंदर जमींदोज हो गई लोगों ने इधर-उधर भाग कर अपनी जान बचाई हालांकि पूरी घटना में किसी के जान नहीं गई लेकिन आर्थिक तौर पर भारी नुकसान हुआ है मौके पर पहुंची प्रशासन की टीम नुकसान का आंकलन कर रही है वहीं सैकड़ों सिक्ख श्रद्धालु जो हेमकुंड साहिब की यात्रा पर आए थे वह भी गुरुद्वारे में फंस चुके हैं और अब स्थिति सामान्य होने का इंतजार कर रहे हैं

मौके पर एसडीआरएफ की टीम के द्वारा वाहनों को काटकर देखा जा रहा है कि कोई व्यक्ति कार के अंदर फंसा तो नहीं है । दलदल में फंसी हुई 12 गाड़ियों को एसडीआरएफ की टीम ने सर्च ऑपरेशन द्वारा देख लिया है आप तस्वीरों में देख सकते हैं कि किस तरीके से एसडीआरएफ की टीम दलदल में फंसे हुए वाहनों की को काटकर सर्च ऑपरेशन कर रहे हैं वही एसडीआरएफ की टीम का कहना है कि अभी कुछ और गाड़ियां दलदल के अंदर फांसी हो सकती है जिसे खोजा जा रहा है

स्थानीय लोगों की मानें तो पहाड़ पर इतनी जबरदस्त आवाज हुई जिससे लोग घर से बाहर निकलने में कामयाब रहे वरना भारी हानि हो सकती थी स्थानीय लोगों की मानें तो लगभग 4 बार इस स्थान पर बादल फट चुके हैं 2005, 2013, 2015 और 2019 में इन्हीं जगहों पर भारी मात्रा में बादल फटने के बाद नुकसान हुआ है नुकसान का आकलन हालांकि प्रशासन के द्वारा किया जा रहा है लेकिन स्थानीय लोगों में एक बार फिर से 2013 की आपदा का डर बैठ गया है

वहीं एक बार फिर से बादल फटने के बाद बदरीनाथ राष्ट्रीय राजमार्ग 58 भी बंद हो गया है 2 जगहों पर भारी मात्रा में मलबा आने से सड़क मार्ग बंद हो गया है 2 जगहों पर 5 से 600 मीटर सड़क बह चुकी है बीआरओ की टीम को मौके पर लगा दिया गया है लेकिन भारी मात्रा में आए मलबे से अभी भी मार्ग खुलने की कोई संभावना नहीं दिख रही है

वही जोशीमठ के उप जिला अधिकारी का कहना है कि मौके पर नुकसान का आकलन किया जा रहा है बद्रीनाथ नेशनल हाईवे बंद होने से बद्रीनाथ की यात्रा रोक दी गई है वहीं हेमकुंड साहिब की यात्रा पर आए तीर्थयात्रियों को निकालने का प्रयास किया जा रहा है स्थिति कब तक सामान्य होगी इसका अंदाजा लगा पाना मुश्किल दिखाई दे रहा है।

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