Home उत्तराखण्ड दून अस्पताल में ऑनलाइन बनेगे पर्चे अब लंबी लाइन से मिलेगी निजात...

दून अस्पताल में ऑनलाइन बनेगे पर्चे अब लंबी लाइन से मिलेगी निजात ।

265
2
SHARE

देहरादून।

राजधानी देहरादून के सबसे बड़े सरकारी अस्पताल दून अस्पताल में इलाज कराने वाले मरीजों को अब डॉक्टर का पर्चा बनवाने को लेकर लंबी लाइनों में नहीं खड़ा होना पडे़गा। मरीज और तीमारदार अस्पताल के काउंटरों पर पर्चा बनवाने के साथ ही अब घर बैठे ऑनलाइन भी बनवा सकेंगे। साथ ही इलाज करने वाले डॉक्टरों का अपॉइंटमेंट भी ले सकेंगे।राजकीय मेडिकल कॉलेज की ओर से मरीजों, तीमारदारों की दिक्कतों को देखते हुए हॉस्पिटल इनफॉरमेशन मैनेजमेंट सिस्टम (एचआईएनएस) को लागू किया जा रहा है। जिसके तहत अस्पताल में तमाम व्यवस्थाओं को ऑनलाइन किया जा रहा है। राजकीय दून मेडिकल कॉलेज के प्राचार्य डॉ. आशुतोष सयाना ने बताया कि दून अस्पताल में प्रतिदिन औसतन चार हजार से अधिक मरीज पर्चा बनवाने के साथ ही डॉक्टरों से इलाज कराते हैं। इतनी अधिक संख्या में मरीजों के अस्पताल में पहुंचाने से भारी भीड़ रहती है।इलाज के लिए पर्चा बनवाने को लेकर काउंटरों पर लंबी लाइनों में इंतजार भी करना होता है। मरीजों व तीमारदारों को इलाज का पर्चा बनाने को लेकर अस्पताल के काउंटरों पर लंबी लाइनों में न खड़ा होना पड़े, इसके लिए हॉस्पिटल मैनेजमेंट इनफॉर्मेशन सिस्टम के तहत ऑनलाइन पर्चा जानी करने की व्यवस्था की जा रही है। मरीज और तीमारदार ऑनलाइन इलाज का पर्चा बनवा सकेंगे। साथ ही इलाज करने वाले डॉक्टर का भी अपना अपॉइंटमेंट ले सकेंगे। योजना धरातल पर उतरती है तो इससे हजारों मरीजों को सुविधा होगी। उन्हें अस्पताल में पर्चा बनवाने को लेकर लाइनों में भी नहीं खड़ा होना पड़ेगा। बता दें कि स्वास्थ्य मंत्रालय ने भी सभी राज्यों को निर्देशित किया है कि वे अपने यहां हॉस्पिटल इंफॉर्मेशन मैनेजमेंट सिस्टम लागू करने के साथ ही यह सुनिश्चित कराएं की अस्पतालों में डाटा बैंक तैयार किया जाए। जिसमें मरीजों के नाम पते के साथ ही उन्हें होने वाली बीमारियों और इलाज में इस्तेमाल की जाने वाली दवाइयों, पैथोलॉजी जांच के बारे में भी जानकारी फीड की जाए, ताकि यदि मरीज किसी बीमारी से ग्रसित होकर दोबारा इलाज कराने आता है तो उसके बारे में सारी जानकारियां पहले से ही अस्पताल के डाटा बैंक में मौजूद हो। यदि ऐसा हो जाता है तो मरीज का इलाज करने वाले डॉक्टरों को तमाम सहूलियतें होगी। साथ ही केंद्र सरकार यह पता लगा सकेगी कि देश में किन बीमारियों का प्रकोप ज्यादा है और उसे रोकने को लेकर क्या किए जाने की जरूरत है।

2 COMMENTS

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here