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केदारनाथ में धीमी गति से चल रहे कार्यों को देखकर डीएम ने लगाई फटकार

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रुद्रप्रयाग। 2013 की आपदा में क्षतिग्रस्त केदारनाथ, गौरीकुण्ड, सोनप्रयाग तथा सीतापुर में हो रहे निमार्ण कार्यो की जिलाधिकारी मंगेश घिल्डियाल ने जिला सभागार कक्ष में कार्यदायी संस्था व ठेकेदारों के साथ बैठक ली। बैठक में जिलाधिकारी ने केदारनाथ में सिंचाई विभाग द्वारा मंदाकिनी नदी के तट पर सुरक्षा दीवार के बारे में पूरी जानकारी ली।
साथ ही उन्होंने अधिशासी अभियंता व ठेेकेदार से गुणवत्ता के साथ ही समय पर कार्य पूर्ण करने के निर्देश दिये। कहा कि कार्यदायी संस्थाओं के सहायक अभियन्ता, अवर अभियन्ता तथा जेई कार्यस्थल पर उपस्थित रहें, जिससे ठेकेदार मनमानी न कर सके, साथ ही सिविल इकाई डीडीएमए गुप्तकाशी को केदारनाथ में चल रहे कार्यो में धीमी गति देखते हुए कड़ी फटकार लगाई। जिलाधिकारी ने कहा कार्य में गुणवत्ता का ध्यान रखते हुए कार्य समय पर किया जाय।
गरूड़चट्टी से केदारनाथ पैदल रास्ते को एक माह के भीतर पूर्ण किया जाय। यदि कार्य समय पर पूर्ण नहीं हुआ तो ठेकेदारों का भुगतान रोक दिया जायेगा। निम तथासिंचाई विभाग द्वारा अवगत कराया गया कि केदारनाथ मंे मंदाकिनी तथा सरस्वती नदी मेंबाढ़ सुरक्षा कार्य 70 प्रतिशत पूर्ण हो चुका है। शेष कार्य माह सितम्बर तक पूर्ण कर लिया जायेगा।जिलाधिकारी ने गौरीकुण्ड, सोनप्रयाग तथा सीतापुर में कार्यदायी संस्थाओं द्वारा कराये जा रहे कार्यो को वीडियोग्राफी के माध्यम से जानकारी ली गयी।सोनप्रयाग में उत्तर प्रदेश निर्माण निगम के सहायक अभियन्ता को कार्य की गुणवत्ता एवं मन्दगति से चल रहे कार्य पर फटकार लगाते हुए कार्य में गुणवत्ता तथा प्रगति लाने के निर्देश दिये। सिंचाई विभाग द्वारा सीतापुर तथा सोनप्रयाग में चल रहे कार्यो की जानकारी ली। जिलाधिकारी ने कहा कि कार्यो की जांच की जायेगी। यदि कार्य में गुणवत्ता में कमी पाई गयी तो सम्बन्धित जेई एवं उच्च अधिकारी के खिलाफ कार्यवाही की जायेगी। इस अवसर पर उप जिलाधिकारी ऊखीमठ गोपाल सिंह चैहान सहित अन्य संबंधितअधिकारी उपस्थित थे।

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